उत्तर भारत की पहली लैरिंजियल री-इनर्वेशन सर्जरी:युवक की अचानक बंद हो गई थी आवाज, छह माह बाद सर्जरी से वापस हुई

एनआईटी के रहने वाले 27 वर्षीय युवक रामस्वरूप की एक दिन अचानक आवाज बंद हो गई। इससे पूरा परिवार सदमे में आ गया। परिवार के लोग शहर के आसपास के करीब आधा दर्जन से अधिक बड़े अस्पतालों में इलाज के लिए रामस्वरूप को ले गए। लेकिन मरीज के ठीक होने का कहीं से कोई संतोषजनक जवाब परिवार को नहीं मिला। जैसे-जैसे टाइम बढ़ता जा रहा था, मरीज मानसिक रूप से अंदर से टूटता जा रहा था। बीमारी के चक्कर में मरीज की नौकरी भी खतरे में आ गई थी। मरीज इतना टूट चुका था कि उसने आत्महत्या तक करने की सोच ली थी। सब जगह से थक हारकर परिजन मरीज को सेक्टर आठ के सर्वोदय हॉस्पिटल ले गए। लंबी जांचों के बाद पता चला कि मरीज़ को बाईं ओर वोकल कार्ड (स्वर तंतु) पैरालिसिस की समस्या थी। यह दिक्कत वायरल फीवर के कारण हुई थी। जिससे उसकी आवाज खत्म हो गई थी। जांच के बाद डाक्टरों ने एक बेहद जटिल और दुर्लभ सर्जरी लैरिंजियल री-इनर्वेशन की। डाक्टरों का दावा है कि यह सर्जरी उत्तर भारत में पहली बार की गई। इस सर्जरी के बाद मरीज अब फिर से सामान्य रूप से बोलने लगा है। छह माह बाद बोलने से मरीज और पूरा परिवार खुश है। सर्जरी करने वाले डॉ. रवि भाटिया, डॉ. आकाश अग्रवाल और डॉ. सौरभ गहलोत ने बताया कि वोकल कॉर्ड को सप्लाई करने वाली नस क्षतिग्रस्त हो गई है। उसे ऑपरेशन के दौरान माइक्रोस्कोप की मदद से फिर से जोड़ा गया। सर्जरी के बाद रिकवरी के लिए मरीज़ को वॉइस थेरेपी, रेजोनेंस थेरेपी, स्वॉलोइंग थेरेपी दी गई। दो-तीन हफ्ते में मरीज की एंडोस्कोपी की गई। सर्जरी के दो माह बाद मरीज़ की आवाज़ पूरी तरह सामान्य हो गई। अब मरीज पूरी तरह पहले की तरह बोलने लगा है।

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